छिंदवाड़ा: 11 जनवरी/ मोदी और शिवराज सिंह चौहान की सरकारों द्वारा की जा रही निर्लज्ज कारपोरेट सेवा, खेती और संसाधनों की लूट तथा विस्थापन के खिलाफ मध्यप्रदेश के 24 से अधिक संगठनो, जन आंदोलनों, वामपंथी दलों व संगठनों की जनाधिकार यात्रा आज छिंदवाड़ा में एक विशाल जन सभा और राष्ट्रीय सम्मेलन के साथ शुरू हुयी । यह यात्रा प्रदेश के महाकौशल, विंध्य, चम्बल, बुंदेलखंड से होती हुयी नर्मदा डूब प्रभावित बड़वानी में होती हुयी 19 जनवरी को इंदौर तक जायेगी।
किसान संघर्ष समिति के डॉ सुनीलम के संचालन में हुयी जनाधिकार यात्रा की इस शुरुआती सभा को एन बी ए की मेधा पाटकर, सामाजिक कार्यकर्ता योगेन्द्र यादव, सीपीआई(एम) केंद्रीय समिति सदस्य बादल सरोज, सीपीआई राज्य सचिव अरविंद श्रीवास्तव, अ भा किसान सभा के प्रदेशाध्यक्ष जसविंदर सिंह, महासचिव रामनारायण कुररिया, ए आई के के एम एस के मनीष श्रीवास्तव सहित डेढ़ दर्जन से ज्यादा वक्ताओं ने संबोधित किया।
वक्ताओं के मुताबिक़ मोदी शिवराज दोनों ही सरकारें देश की खेती तथा संपत्तियों को अम्बानी अडानी जिंदल जैसे देसी और ऐसे ही विदेशी कार्पोरेट्स के हाथों में सौंपती जा रही हैं । लाखों करोड़ों किसान तथा मजदूर बेदखल और विस्थापित किये जा रहे हैं । विकास सिर्फ मुट्ठी भर धन पशुओं की चर्बी का हुआ है । दाल रोटी कम हुयी है, रोजगार ख़त्म हुए हैं, शिक्षा और स्वास्थ्य के अवसर संकुचित हुए हैं । महिलाओं, आदिवासियों, दलितों की जीवनदशा असहनीय हुयी है । अल्पसंख्यकों को, सरकारी विफलताएं छुपाने के लिए, उन्माद फैलाने की नीयत से नए नए तरीके से निशाने पर लिया जा रहा है ।
प्रदेश के किसानो की भयानक दुर्दशा, सूखा और प्राकृतिक आपदा के समय उनके साथ 30 और 35 रुपयों के मुआवजे के मखौल को सामने रखते हुए वक्ताओं ने सवाल किया कि कारपोरेट को लाखों करोड़ रुपयों की सौगात लुटाने वाली सरकारों के पास किसानो तथा जनता को राहत देने के नाम पर खजाने में पैसा क्यों नहीं रहता।
डब्लू टी ओ में जारी मोदी सरकार के बारम्बार समर्पण की भी सभा में निंदा की गयी ।
इस खुले सम्मेलन में एक प्रस्ताव पारित किया गया । जिसे किसान नेता कुञ्ज बिहारी पटेल ने रखा तथा एडवोकेट सुश्री आराधना भार्गव ने अनुमोदित किया ।
सम्मेलन ने अपनी लड़ाई को देशव्यापी संघर्ष का हिस्सा बताया और 24 फरवरी को दिल्ली में होने वाली विराट रैली में बढ़चढ़कर भाग लेने की घोषणा की ।
सभा सम्मेलन को श्री चन्द जैन दिल्ली, अफसर जाफरी फोकस, शाहिद कमाल बिहार, रवींद्र सिंह उप्र, राघवेंद्र कुमार बलिया, भारत शर्मा देशबन्धु दिल्ली, तौसीफ सब्जवारी माकपा छिंदवाड़ा, महेश सोनी सचिव माकपा छिंदवाड़ा, अशोक कुमार भारती कार्य. अध्यक्ष लालझण्डा कोल माइंस मजदूर युनियन (सीटू), टी आर आठ्या इन्साफ, राजेश तामेश्वरी विदिशा, प्रो सत्तर बीड महाराष्ट्र, रोशन लाल अग्रवाल नयी दिल्ली , रामाश्रय याफव वाराणसी, राजेश बैरागी झाबुआ, रामबाबू अग्रवाल इंदौर, रामस्वरूप मंत्री इंदौर, रामेश्वर गुप्ता रीवा, पी एस जी जनता दल सेक्यूलर, श्री गोपाल गांगुदा, पिपरिया, बाबा मायाराम, अन्ना साहब खंडारे औरंगाबाद, जगदीश दौंडके मुलताई बैतूल, दीपक चौधरी कोयला श्रमिक सभा, अविक कोलकता, रजनी कान्त मुद्गल सोशलिस्ट फ्रंट, आरती पाण्डेय भोपाल, रणधीर सिंह राजपूत इत्यादि ने प्रस्ताव के समर्थन में विचार रखे ।