युवाओं को मोटापे से बचाने में पिता कर सकते हैं मदद

स्वास्थ्य, जीवनशैली

टोरंटो, 5 जुलाई (आईएएनएस)| माता-पिता, खासतौर से पिता युवा वयस्कों ने स्वास्थ्यवर्धक आदत डालने तथा मोटापा रोकने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। ऐसा शोधकर्ताओं का कहना है।

इस शोध के निष्कर्षो से पता चला है कि पुरुषों में उसके पिता के साथ संबंधों की गुणवत्ता अधिक वजन या मोटापे से ग्रस्त होने की उनकी मुश्किलों पर गहरा असर छोड़ता है।

जहां तक इस अनुमान का सवाल है कि क्या कोई युवा वयस्क मोटापे या अधिक वजन का शिकार हो सकता है। इस पर उसकी मां के साथ उसके संबंधों की बजाय पिता के साथ उसके संबंधों का अधिक असर होता है।

प्रमुख शोधकर्ता और कनाडा के यूनिवर्सिटी ऑफ ग्यूलेफ के प्रोफेसर जेस हाइनेस का कहना है, "हमारे शोध में बच्चों के ऊपर पिता के प्रभाव का अध्ययन किया गया। साथ ही यह भी देखा गया कि पिता किस प्रकार अपने बच्चों में स्वास्थ्यवर्धक आदत विकसित करने में मदद कर सकते हैं।"

इसके अलावा जो युवा वयस्क स्थाई परिवारों में पलते-बढ़ते हैं और अगर माता-पिता के साथ उनका रिश्ता गुणवत्तापूर्ण होता है, तो उनके स्वस्थ आहार, गतिविधि तथा अच्छी नींद लेने की संभावना ज्यादा होती है, जिसके उनमें मोटापे की संभावना घट जाती है।

जो लड़कियां स्थायी परिवारों में पलती-बढ़ती हैं, उनके फास्ट फूड खाने की संभावना कम होती है, जिससे उनके मोटापे के शिकार होने की संभावना भी कम होती है।

हाइनेस ने आगे बताया, "ऐसा प्रतीत होता है कि पिता-पुत्र के रिश्तों का बेटे पर कहीं अधिक प्रभाव पड़ता है, जबकि मां-बेटी के रिश्ते में बेटी पर कम प्रभाव पड़ता है।"

इस शोध के लिए शोध दल ने 3,700 से अधिक महिलाएं औ 2,600 पुरुषों का अध्ययन किया था और उन सभी की उम्र 14 से 24 साल के बीच थी।

पुरुषों और महिलाओं, दोनों में 80 फीसदी का कहना था कि वे अपने परिवार से भावनात्मक रूप से जुड़े हुए हैं। उनकी रोजाना की दिनचर्या बेहतर तरीके से परिवार द्वारा ही संचालित की जाती है और वे सभी एक-दूसरे से जुड़े हुए हैं।

इनमें 10 में 6 महिलाओं और करीब आधे पुरुषों ने अपने माता-पिता से साथ बहुत ही बेहतर संबंध होने की बात कही।

हाइनेस का कहना है, "सामान्य तौर पर हमारे शोध के निष्कर्षो से परिवार के व्यवहार और रिश्तों का युवा वयस्कों के जीवन पर कम उम्र से ही महत्व का पता चलता है, इससे ही उनके वजन और उससे संबंधी व्यावहार का निर्धारण होता है।"

वहीं, दूसरी तरफ अगर परिवार में अलगाव हो तो युवा वयस्कों में स्वास्थ्यवर्धक आदतों में व्यवधान पैदा हो सकता है।

यह शोध जर्नल ऑफ बिहेवियर न्यूट्रिशन एंड फिजिकल एक्टिविटी में प्रकाशित किया गया है।

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