बिहार : गोपालगंज में 12 लोगों की मौत पर सियासत गर्म

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पटना, 17 अगस्त (आईएएनएस)| बिहार के गोपालगंज जिले में कथित तौर पर जहरीली शराब पीने से 12 लोगों की मौत की खबर से राज्य की सियासत गरमा गई है। विपक्ष ने इस घटना को शराबबंदी कानून की विफलता करार दिया है, वहीं सत्ता पक्ष दोषियों के खिलाफ कड़ी कारवाई की बात कर रहा है। राज्य की मुख्य विपक्षी पार्टी, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री नंद किशोर यादव ने कहा, "जहरीली शराब से हुई मौतों के जिम्मेदार खुद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार हैं। उन्हें बिहार की जनता को जवाब देना चाहिए।" उन्होंने सवालिया लहजे में कहा कि शराबबंदी कानून की आड़ में तालिबानी फरमान के कारण इस तरह की घटनाएं घट रही हैं।

भाजपा के विनोद नारायण झा ने इस घटना को दुखद बताते हुए कहा कि राज्य में प्रतिदिन ऐसी घटनाएं घट रही हैं। उन्होंने कहा कि राज्य के बाहर मुख्यमंत्री शराबबंदी का ढिंढोरा पीट रहे हैं और राज्य में जहरीली शराब पीकर गरीब लोग मर रहे हैं।

उन्होंने आरोप लगाया कि सभी दल शराबबंदी के पक्ष में थे, परंतु तालिबानी फरमान जारी कर मुख्यमंत्री इसका ब्रांडिंग करने लगे हैं। उन्होंने कहा कि अब प्रशासन पर से भी सरकार का नियंत्रण समाप्त हो चुका है।

बिहार में सत्ताधारी महागठबंधन में शामिल राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के नेता मृत्युजंय तिवारी ने कहा, "आधिकारिक पुष्टि के पहले कहना मुश्किल है कि मौत जहरीली शराब से ही हुई है, लेकिन, जो घटना हुई है वह दुखद है।"

जनता दल (युनाइटेड) के नेता और पूर्व मंत्री श्याम रजक ने माना कि ग्रामीण क्षेत्र में शराबबंदी लागू करने में सरकार को कुछ परेशानी हो रही है। उन्होंने कहा कि गोपालगंज की घटना की जांच के आदेश दिए गए हैं और जो भी लोग दोषी पाए जाएंगे उनके खिलाफ नए उत्पाद अधिनियम के तहत कठोर कार्रवाई की जाएगी।

उल्लेखनीय है कि बिहार में अप्रैल महीने से सभी प्रकार की शराब की बिक्री और सेवन पर प्रतिबंध है।

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